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पूरी रात बाढ़ प्रभावितों के बीच रहे बिरला, सुनी व्यथा और दिए राहत के निर्देश

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला गुरुवार देर रात से शुक्रवार सुबह तक बूंदी जिले के बाढ़ प्रभावित गांवों के दौरे पर रहे। अतिवृष्टि और बाढ़ जैसे हालातो से प्रभावित हुए गांवों में पहुंचकर उन्होंने ग्रामीणों का दुख-दर्द बांटा और हर परिवार को भरोसा दिलाया कि राहत और पुनर्वास के हर कदम पर सरकार और जनप्रतिनिधि उनके साथ खड़े हैं।

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पूरी रात बाढ़ प्रभावितों के बीच रहे बिरला, सुनी व्यथा और दिए राहत के निर्देश

बाढ़ पीडि़तों की समस्या सुनते हुए।

बूंदी. लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला गुरुवार देर रात से शुक्रवार सुबह तक बूंदी जिले के बाढ़ प्रभावित गांवों के दौरे पर रहे। अतिवृष्टि और बाढ़ जैसे हालातो से प्रभावित हुए गांवों में पहुंचकर उन्होंने ग्रामीणों का दुख-दर्द बांटा और हर परिवार को भरोसा दिलाया कि राहत और पुनर्वास के हर कदम पर सरकार और जनप्रतिनिधि उनके साथ खड़े हैं।

गुरुवार दोपहर से शुरू हुआ बिरला का यह दौरा शुक्रवार सुबह तक चला। देर रात जब अधिकांश लोग नींद में थे, लोकसभा अध्यक्ष ख्यावदा, पचीपला, रिहाणा, देलुन्दा, मालियों की बाड़ी, खेडिय़ा दुर्जन, बोरदा काछियां और झालीजी का बराना जैसे गांवों में पहुंचे। उन्होंने टूटे मकानों को देखा, खेतों में बर्बाद फसलें देखी और पीडि़त ग्रामीणों से सीधे संवाद किया। किसी ने मकान ढहने का दुख सुनाया तो किसी ने पशुधन और खेतों के नुकसान की पीड़ा साझा की। बिरला हर परिवार के बीच ठहरकर धैर्यपूर्वक उनकी बातें सुनते रहे और तुरंत मदद का भरोसा दिया। इस दौरे में जिला कलक्टर अक्षय गोदारा, भाजपा जिलाध्यक्ष रामेश्वर मीणा, पूर्व विधायक चंद्रकांता मेघवाल सहित प्रशासनिक अधिकारी साथ रहे। दौरा सुबह करीब 4.30 बजे तक लगातार जारी रहा। ग्रामीणों ने त्वरित राहत सामग्री, राशन और चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए लोकसभा अध्यक्ष का आभार जताया और कहा कि उनके आगमन से उन्हें संबल और विश्वास मिला है।

मानवीय संवेदना के साथ किया भरोसा
बोरदा काछियान और झालीजी का बराना गांव में ग्रामीणों से मिलते हुए बिरला ने कहा कि संकट की इस घड़ी में कोई भी परिवार अकेला नहीं है। उन्होंने ग्रामीणों की मांग पर क्षतिग्रस्त सडक़ों की मरम्मत और तेजाजी मंदिर की छत की मरम्मत के लिए सांसद कोष से राशि देने का आश्वासन भी दिया। उन्होंने कहा कि जनता की पीड़ा का निवारण और उनके आंसू पोंछना ही उनकी पहली प्राथमिकता है।

अधिकारियों को दिए सख्त निर्देश
निरीक्षण के दौरान बिरला ने जिला प्रशासन के साथ बैठक की और स्पष्ट निर्देश दिए कि क्षतिग्रस्त मकानों का सर्वे शीघ्र पूरा कर मुआवजा राशि जारी की जाए। जिन परिवारों को एनडीआरएफ मद के अंतर्गत कपड़े व बर्तनों की सहायता राशि अब तक नहीं मिली है, उनके नाम दोबारा सर्वे कर सूची में जोड़े जाएं। साथ ही, फसलों की गिरदावरी कर किसानों को नियमानुसार मुआवजा उपलब्ध कराया जाए। उन्होंने कहा कि सर्वे ईमानदारी और पारदर्शिता से होना चाहिए, ताकि कोई भी परिवार राहत से वंचित न रहे।