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एमपी में कुपोषण का गहराया संकट, इस जिले में 400 बच्चों की हालत गंभीर

mp news: एमपी के दतिया में 400 से अधिक बच्चे अतिकुपोषण से जूझ रहे हैं। विभाग टीमें भेजकर बच्चों का वजन तौल रही है और गंभीर हालत वालों को तत्काल एनआरसी में भर्ती कराया जा रहा है।

दतिया

Akash Dewani

Aug 15, 2025

400 children severe malnutrition datia medical emergency mp news
400 children severe malnutrition datia medical emergency (फोटो- freepik)

mp news: दतिया जिले में 400 बच्चे अतिकुपोषित (severe malnutrition) होने का दंश झेल रहे है। हालात यह है कि सबसे अधिक अतिकुपोषित 163 बच्चे भांडेर में मिले है। वहीं दूसरी ओर अतिकुपोषित और मध्यमकुपोषित बच्चों को चिन्हित करने के लिए उनका वजन तौला जा रहा है। अभी हाल में 24 हजार बच्चों का वजन आंगनवाड़ी केंद्रों की कार्यकर्ताओं ने तौला है। जिसमें से 63 अतिकुपोषित बच्चों को एनआरसी में भर्ती कराया गया है। शिवपुरी जिले के एक बच्चे की मौत 10 अगस्त को दतिया जिला अस्पताल में होने की वजह से अब महिला एवं बाल विकास विभाग हरकत में आया है। विभाग द्वारा टीमें गठित कर ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में भेजी जा रही है।

अस्पतालों में क्षमता से ज्यादा बच्चे भर्ती, एक की मौत

जिले में एक कुपोषित बच्चे की मौत के बाद महिला एवं बाल विकास विभाग की टीमे अब गांव-गांव जाकर अतिकुपोषित बच्चों को चिन्हित करने में जुटी है। हालात यह है कि कई ग्रामों में अभिभावक अपने बच्चों को एनआरसी केंद्रों में भर्ती करने से गुरेज कर रहे है। लेकिन कलेक्टर की सती के बाद टीमें एंबुलेंस और अपने वाहनों से बच्चों को एनआरसी तक पहुंचा रहे है। जिले के पांच एनआरसी केंद्रों की पलंग की क्षमता 55 है, लेकिन अभी हाल में 63 बच्चे भर्ती है।

वहीं जिला अस्पताल की एनआरसी फुल होने की वजह से वृद्धजन वार्ड कुपोषित बच्चों के लिए खोल दिया गया है। वहीं महिला एवं बाल विकास अधिकारी ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को निर्देश दिए हैं कि अगर अभिभावक अपने बच्चों को केंद्र तक नहीं ला पा रहे हैं, तो बच्चों के घर पर जाकर उनके वजन की तुलाई करने के बाद रिपोर्ट हर रोज सीडीपीओ को भेजे।

महिला एवं बाल विकास विभाग ने जारी किए आदेश

महिला एवं बाल विकास विभाग की ओर से निर्देश जारी किए गए हैं कि अगर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता घर-घर जाकर बच्चों के वजन की तुलाई नहीं करती हैं, तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। साथ ही सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को 20 तारीख तक महिला एवं बाल विकास विभाग को यह संया देनी है कि उन्होंने कितने बच्चों का वजन तौला है। 10 दिन के भीतत कार्यकर्ताओं को 63 हजार बच्चों का वजन तौलना है। अगर लक्ष्य से कम बच्चों के वजन की तुलाई कार्यकर्ता करती हैं, तो विभाग द्वारा कार्रवाई की जाएगी।

सेंवढ़ा में केवल 24 अतिकुपोषित बच्चे मिले

महिला एवं बाल विकास विभाग की रिपोर्ट को माने तो भांडेर में सबसे अधिक 168 बच्चे कुपोषित है। वहीं सेंवढ़ा में 24 कुपोषित बच्चों की मॉनीटरिंग विभाग द्वारा की जा रही है। दतिया शहर में 72 और ग्रामीण में 52 कुपोषण के दंश से बच्चे पीड़ित है। उधर इंदरगढ़ में 41 बच्चे कुपोषित पाए गए हैं। महिला एवं बाल विकास विभाग ने अप्रैल से लेकर 14 अगस्त तक की रिपोर्ट तैयार की है।

महिला एवं बाल विकास विभाग दतिया प्रभारी डीपीओ अरविंद कुमार उपाध्याय ने बताया कि जिले में 400 अतिकुपोषित बच्चे चिह्नित किए गए हैं। इनकी सतत मॉनीटरिंग की जा रही है। 63 अतिकुपोषित बच्चों को पांच एनआरसी में भर्ती भी कराया गया है।