अब मनसा देवी मंदिर में दान-पेटियों और चढ़ावे की गिनती कैमरों की निगरानी में होगी और मंदिर की हर आर्थिक गतिविधि पर जिलाधिकारी की पैनी नजर रहेगी। जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने इस नई व्यवस्था की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि मंदिर की आय और खर्च का हर महीने ऑडिट कराया जाएगा। इसकी रिपोर्ट सीधे जिलाधिकारी को सौंपी जाएगी। इससे न सिर्फ वित्तीय अनुशासन सुनिश्चित होगा, बल्कि श्रद्धालुओं द्वारा दिए गए दान का सही सदुपयोग भी सुनिश्चित हो सकेगा।
बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधा को देखते हुए प्रशासन ने मंदिर में एक सप्ताह के भीतर चिकित्सक की तैनाती के साथ ही डिस्पेंसरी बनाने का निर्णय लिया है। अभी जगह को चिन्ह्ति किया जा रहा है। एक सप्ताह में डिस्पेंसरी बना दी जाएगी। इसके अलावा मंदिर प्रांगण में स्वच्छता, पेयजल, सुरक्षा और अन्य मूलभूत सुविधाओं को दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए हैं।
जिलाधिकारी मयूर दीक्षित ने कहा कि मंदिर प्रबंधन को स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि मासिक ऑडिट रिपोर्ट अनिवार्य रूप से उनके समक्ष प्रस्तुत की जाए। इसके साथ ही श्रद्धालुओं को किसी तरह की परेशानी न हो, इसके लिए हर स्तर पर निगरानी बढ़ाई जाएगी।
प्रशासन और मंदिर प्रबंधन के बीच हुई सहमति के मुताबिक, चढ़ावे से मिलने वाली धनराशि का उपयोग अब मंदिर की सुंदरता बढ़ाने, बुनियादी ढांचे को मजबूत करने और सामाजिक कार्यों में किया जाएगा। इसमें नवीनीकरण, सौंदर्यीकरण, पेयजल व्यवस्था, रौशनी और यात्री सुविधाओं पर विशेष ध्यान दिया जाएगा।
Published on:
20 Aug 2025 08:22 am