Pain signs of Heart Attack: अक्सर हम मान लेते हैं कि हार्ट अटैक का मतलब सीने में तेज दर्द महसूस होता है, लेकिन हकीकत यह है कि दिल की परेशानी का असर शरीर के कई हिस्सों में दिखाई दे सकता है। जब हार्ट की धमनियों में खून का बहाव रुक जाता है, तो ऑक्सीजन की कमी के कारण शरीर अलग-अलग तरीकों से संकेत देने लगता है। अगर इन संकेतों को समय रहते पहचान लिया जाए, तो गंभीर परिणामों से बचा जा सकता है।
हार्ट अटैक का सबसे आम लक्षण है सीने में दर्द या असहजता। यह दर्द कसाव, दबाव, जलन या भारीपन जैसा महसूस हो सकता है। पुरुषों में यह लक्षण अधिक स्पष्ट होता है, लेकिन महिलाओं में कभी-कभी हार्ट अटैक बिना सीने में दर्द के भी हो सकता है।
अचानक कमजोरी, हाथ-पैर कांपना, चक्कर या बेहोशी जैसी स्थिति भी दिल की परेशानी का नतीजा हो सकती है। यह लक्षण कई बार घबराहट या बेचैनी के साथ भी आते हैं।
बिना मेहनत किए भी सांस फूलना, भारी सांसें लेना या लेटने पर सांस लेने में तकलीफ होना दिल पर दबाव का संकेत हो सकता है। बैठने पर यह समस्या थोड़ी कम महसूस हो सकती है।
अगर बिना ज्यादा मेहनत किए भी आप जल्दी थक जाते हैं, तो इसे हल्के में न लें। कई बार यह थकान हार्ट अटैक से हफ्तों पहले महसूस होने लगती है। खासकर महिलाओं में यह एक महत्वपूर्ण चेतावनी संकेत है।
बिना गर्मी या मेहनत के अचानक ठंडा और चिपचिपा पसीना आना हार्ट अटैक का खतरा दर्शा सकता है। यह लक्षण अक्सर सीने के दबाव या सांस फूलने के साथ महसूस होता है।
गर्दन, जबड़े, कंधे, ऊपरी पीठ या बांहों में अस्पष्ट दर्द या भारीपन भी दिल की परेशानी का संकेत हो सकता है। यह दर्द धीरे-धीरे फैल सकता है या अचानक शुरू हो सकता है।
हार्ट अटैक से पहले कई लोग रात में बार-बार उठने, नींद आने में कठिनाई या पर्याप्त नींद के बाद भी थकान महसूस करने की शिकायत करते हैं।
पेट में दर्द, दबाव, अपच, मतली या उल्टी भी कभी-कभी हार्ट अटैक से जुड़ा लक्षण हो सकता है। इसे अक्सर लोग गैस या एसिडिटी समझकर नजरअंदाज कर देते हैं, जो खतरनाक साबित हो सकता है।
अगर ऊपर बताए गए लक्षणों में से कोई भी अचानक और तेज रूप में महसूस हो, साथ में सांस फूलना, चक्कर, ठंडा पसीना या बेचैनी हो, तो समय बर्बाद न करें। तुरंत नजदीकी अस्पताल जाएं या मेडिकल इमरजेंसी नंबर पर कॉल करें। हार्ट अटैक में हर मिनट कीमती होता है, और समय पर इलाज जीवन बचा सकता है।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
Published on:
08 Aug 2025 01:25 pm