
अशोक गहलोत ( फाइल फोटो-पत्रिका)
जयपुर। राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अशोक गहलोत ने बिहार चुनाव परिणामों को निराशाजनक बताते हुए धनबल के दुरुपयोग का गंभीर आरोप लगाया है। शुक्रवार को प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में गहलोत ने कहा कि बिहार चुनाव प्रचार के दौरान ही महिलाओं को 10-10 हजार रुपए बांटे गए, जिसका असर परिणामों पर पड़ा है।
गहलोत ने आरोप लगाते हुए कहा कि जब चुनाव अभियान चल रहा था, तब भी रुपए बांटे जा रहे थे। ऐसा कभी होता नहीं है। यहां तक कि मतदान होने से एक दिन पहले तक महिलाओं के खाते में रुपए डाले गए।
गहलोत ने कहा कि राजस्थान में उनके नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार मोबाइल फोन बांट रही थी, लेकिन जिस दिन आचार संहिता लागू हुई, उसी समय फोन बांटना बंद कर दिया। उन्होंने कहा कि राजस्थान में तो बुजुर्ग, विधवा और नि:शक्तजन की पेंशन तक रोक दी गई, लेकिन बिहार में चुनाव के दौरान खुलकर पेंशन और पैसा दोनों बांटा गया। कांग्रेस की हार का वह भी एक मुख्य कारण था।
गहलोत ने चुनाव आयोग की भूमिका पर सवाल खड़े किए। उन्होंने कहा कि चलते चुनाव के दौरान पैसे बांटे जा रहे थे, आयोग को यह सब रोकना चाहिए था, लेकिन रोका ही नहीं। जबकि उन्होंने राजस्थान में रोक दिया, जब मोबाइल फोन बंट रहे थे, पेंशन रोक दी। इसके विपरीत बिहार में चुनाव आयोग ने इन सबकी अनदेखी की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी और अन्य नेता वोट चोरी की बात कर रहे थे, यह वही है। अगर चुनाव निष्पक्ष नहीं हो, धन का दुरुपयोग हो, और आयोग चुप रहे, तो इसे वोट चोरी ही कहा जाता है।
गहलोत ने कहा कि धन का दुरुपयोग हो रहा है। आजकल कोई सोच नहीं सकता। आप-हम सोच नहीं सकते कि कैसे पैसे बंटते हैं। महाराष्ट्र में पता कर लें कि कितने करोड़ रुपए दिए गए होंगे, उम्मीदवारों को। कांग्रेस के पास तो पैसा है नहीं, न राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के पास पैसा है। उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी तीन बार प्रधानमंत्री बन गए, लेकिन मेरा मानना है कि इस देश को कांग्रेस की विचारधारा की जरूरत है। वह देश के हित में है। देश को कांग्रेस की जरूरत है।
Published on:
14 Nov 2025 05:23 pm
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