जयपुर: राजस्थान विधानसभा का सत्र 1 सितंबर से शुरू होगा। इस सत्र में सरकार तीन अहम विधेयक पेश करना चाहती है, जो इस समय प्रवर समितियों के पास विचाराधीन हैं। नियमों के अनुसार, इन विधेयकों को सदन में रखने से पहले प्रवर समितियों द्वारा संशोधन और सुझाव देना आवश्यक है, लेकिन अभी तक यह प्रक्रिया पूरी नहीं हो पाई है।
जानकारी के मुताबिक, प्रवर समितियों की बैठकें 21 से 24 अगस्त तक प्रस्तावित हैं। यदि इन बैठकों में भी कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया, तो आगामी सत्र में इन विधेयकों को लाना सरकार के लिए मुश्किल हो जाएगा।
सदन में पहले पेश किए जाने के बाद इन्हें प्रवर समितियों को भेजा गया था। इनमें राजस्थान भू राजस्व संशोधन विधेयक भी शामिल है। वहीं, राजस्थान भू-जल प्रबंधन एवं प्राधिकरण विधेयक, 2004 को लेकर स्थिति और जटिल है। यह विधेयक सबसे पहले जुलाई 2023 में सदन में लाया गया था, लेकिन उसी दौरान इसे प्रवर समिति को सौंप दिया गया। इसके बाद मार्च 2024 में भी इसे दोबारा प्रवर समिति को भेजा गया। लगातार लंबित रहने से इस विधेयक पर अंतिम निर्णय नहीं हो पाया है।
ऐसे में यदि समितियों ने अगस्त की बैठकों में संशोधन पूरा नहीं किया, तो सरकार का मानसून सत्र में इन विधेयकों को लाना मुश्किल होगा। इससे सरकार के विधायी एजेंडे पर सीधा असर पड़ सकता है।
Published on:
18 Aug 2025 08:16 am