
अतिक्रमण हटाती टीम। फोटो- पत्रिका
जोधपुर। राजस्थान हाईकोर्ट के कड़े निर्देशों के बाद नगर निगम ने गुरुवार को एम्स रोड पर अतिक्रमण विरोधी अभियान चलाया। दाऊजी की होटल से लेकर एम्स अस्पताल के गेट नंबर 3 से 6 तक निगम टीम ने अतिक्रमण हटाए। निगम उपायुक्त ताराचंद वैंकट के नेतृत्व में हुई इस कार्रवाई में सतर्कता प्रभारी जलज घसिया, सहायक प्रभारी रजनीश बारासा सहित कई अधिकारी, अतिक्रमण निरोधक दस्ते के कर्मचारी और पुलिस मौजूद रही।
अभियान के दौरान दो जेसीबी, दो डंपर, चार ट्रैक्टर-ट्रॉलियां और तीन वाहनों की मदद से ठेले, ढाबों का सामान, टीन शेड, टेबल-कुर्सियां, काउंटर, रेलिंग, बांस, टायर और चबूतरे सहित 150 से ज्यादा अतिक्रमण हटाए गए।
निगम की टीम लगातार दो दिनों से मुनादी कर रही थी। इसके चलते कई लोगों ने पहले ही अपना सामान हटा लिया था, लेकिन जिन अतिक्रमणों को नहीं हटाया गया था, उन्हें जेसीबी से ध्वस्त कर जब्त किया गया। कार्रवाई के दौरान निगम आयुक्त सिद्धार्थ पालानीचामी भी पहुंचे।
एम्स गेट नंबर 3 के सामने सड़क पर मेडिकल दुकानों के आगे बनाए गए तीन शेड और चबूतरों को जेसीबी से हटाया गया। इस पर दुकानदारों ने नाराजगी जताई। उनका कहना था कि ठेला-ढाबा संचालकों को पहले नोटिस देकर हटाया गया था, लेकिन मेडिकल दुकानों पर बिना सूचना कार्रवाई कर दी गई। दुकानदारों ने कहा कि सूचना मिलती तो वे खुद शेड और सामान हटा लेते, जिससे नुकसान नहीं होता।
इस बीच रोजाना लगने वाले थड़ी-ठेले वाले निगम कार्रवाई की जानकारी मिलते ही हट गए। उधर सरस डेयरी बूथ पर कार्रवाई नहीं होने पर सवाल उठे। बताया जा रहा है कि किसी प्रभावशाली मंत्री के फोन के बाद बूथ पर कार्रवाई नहीं हुई। इस बारे में अधिकारियों ने बताया कि सरस डेयरी बूथ में बिजली कनेक्शन होने की वजह से शाम तक की मोहलत दी गई। हालांकि कार्रवाई खत्म होने तक भी बूथ नहीं हटाया गया। उपायुक्त ताराचंद वैंकट ने कहा कि बूथों का पुन: परीक्षण कराया जाएगा और आवश्यकता अनुसार अतिरिक्त बूथ हटाए जाएंगे।
अभियान के दौरान एम्स की पार्किंग के बाहर खड़ी गाड़ियों की समस्या भी सामने आई, जहां रोज अव्यवस्था रहती है। निगम टीम ने पुलिस को मौके पर बुलाया। पार्किंग ठेकेदार ने बताया कि लोग रोज इसी जगह गाड़ियां खड़ी कर देते हैं, जिससे यातायात बाधित होता है।
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राजस्थान हाईकोर्ट ने 13 नवंबर को आदेश जारी कर 9 दिसंबर तक एम्स गेट नंबर 3 और 4 सहित पूरी मुख्य सड़क को अतिक्रमण मुक्त करने के निर्देश दिए थे। कोर्ट ने सुबह 7 बजे से रात 11 बजे तक इस रोड पर भारी वाहनों के संचालन पर रोक लगाने को भी कहा था। कलक्टर को इस कार्रवाई की जिम्मेदारी सौंपी गई थी और निर्देशों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करने को कहा गया था।
राजस्थान पत्रिका ने कोर्ट आदेश के बावजूद एम्स रोड से अतिक्रमण नहीं हटाने के मुद्दे को प्रमुखता से प्रकाशित किया था। इसके बाद गुरुवार को नगर निगम की टीम पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंची और अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई की।
Updated on:
27 Nov 2025 07:34 pm
Published on:
27 Nov 2025 07:28 pm
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