Patrika LogoSwitch to English
मेरी खबर

मेरी खबर

शॉर्ट्स

शॉर्ट्स

ई-पेपर

ई-पेपर

Daily Foods Damage Kidney : सोडा से नमक तक इन 5 रोजाना के खानों से हो सकती है किडनी खराब

Daily Foods Damage Kidney : किडनी ब्लड फिल्टर, इलेक्ट्रोलाइट संतुलन और ब्लड प्रेशर कंट्रोल करती है लेकिन सोडियम, फॉस्फेट, शुगर और अनहेल्दी फैट वाले रेडीमेड फूड्स धीरे-धीरे इसे नुकसान पहुंचा रहे हैं, खासकर युवाओं में।

भारत

Manoj Vashisth

Aug 14, 2025

Daily Foods Damage Kidney
Daily Foods Damage Kidney : सोडा से नमक तक इन 5 रोजाना के खानों से हो सकती है किडनी खराब (फोटो सोर्स : Freepik)

Daily Foods Damage Kidney : किडनी हमारे शरीर में ब्लड फिल्ट्रेशन, इलेक्ट्रोलाइट संतुलन, ब्लड प्रेशर कंट्रोल और हड्डियों व लाल रक्त कोशिकाओं के स्वास्थ्य के लिए लगातार काम करती रहती हैं। यह जो बना बनाया खाना हम खाते हैं वह बहुत ही खतरनाक है। यह खाना हमारे शरीर के जरूरी अंगों पर चुपचाप हमला कर रहा है और उन्हें नुकसान पहुंचा रहा है।

अध्ययन से पता चलता है कि युवा या मध्यम आयु वर्ग के लोगों में बिना डायबिटीज, बिना हाई ब्लड प्रेशर के किडनी डैमेज के लक्षण बढ़ रहे हैं। । इनमें से अधिकांश व्यक्तियों में क्या समानता है? उनके आहार में सोडियम, फॉस्फेट, शुगर और Unhealthy Fats से भरपूर खाद्य पदार्थ शामिल हैं।

सोडा और चीनी-मीठे पेय पदार्थ

कई शोधों में यह बात सामने आई है कि जो लोग नियमित रूप से सोडा, खासकर कोला-आधारित सोडा पीते हैं उनकी किडनी को सीधा नुकसान पहुनचता है, भले ही उन्हें पहले से कोई बीमारी न हो।

यह कैसे नुकसान पहुंचाता है:

हाई फ्रुक्टोज लेवल : यूरिक एसिड बढ़ाता है और इंसुलिन प्रतिरोध को बढ़ावा देता है दोनों को ही किडनी को डैमेज करने के लिए जाने जाते हैं।
फॉस्फोरिक एसिड (डार्क सोडा में) हड्डियों से कैल्शियम को खींचता है और किडनी को नुकसान पहुंचाता है।

प्रोसेस्ड मीट (बेकन, कोई भी सॉसेज, डेली मीट)

प्रोसेस्ड मीट कई आहारों में एक प्रमुख प्रोटीन है लेकिन यह आपकी किडनी पर बुरा असर डालता है।

यह कैसे नुकसान पहुंचाता है:

ज्यादा सोडियम (नमक) और प्रेजरवेटिव्स की वजह से यह खाना ब्लड प्रेशर बढ़ा सकता है जो किडनी की बीमारी (CKD) का दूसरा सबसे बड़ा कारण है।

ज्यादातर प्रोसेस्ड मीट (जैसे सॉसेज या सलामी) में नाइट्रेट और नाइट्राइट बहुत ज्यादा होते हैं जो शरीर में सूजन और कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाते हैं।

डिब्बाबंद और इंस्टेंट फूड्स

डिब्बाबंद खाना (डिब्बाबंद सूप) और इंस्टेंट फूड्स (पैक्ड नूडल्स) सुविधाजनक होते हैं लेकिन अक्सर इनमें नमक की मात्रा अधिक होती है।

यह कैसे नुकसान पहुंचाता है:

ज्यादा नमक की मात्रा ब्लड प्रेशर में वृद्धि के साथ-साथ जमाव का कारण बनती है जिससे किडनी को अधिक मेहनत करनी पड़ती है।

इनमें से कुछ खाद्य पदार्थों में छिपे हुए फॉस्फेट योजक होते हैं जो कैल्शियम-फॉस्फोरस संतुलन को बिगाड़ सकते हैं और नेफ्रॉन को नुकसान पहुंचा सकते हैं।

फास्ट फ़ूड (बर्गर, फ्रेंच फ्राइज, पिज़्ज़ा)

फास्ट फ़ूड में न केवल कैलोरी की मात्रा ज्यादा होती है बल्कि इनमें सोडियम, ट्रांस फ़ैट और/या किसी प्रकार के प्रोसेस्ड तत्व भी ज्यादा होते हैं जो किडनी के कार्य को प्रभावित कर सकते हैं।

यह कैसे नुकसान पहुंचाता है:

वसा में सोडियम की अधिकता आपके ब्लड प्रेशर को बढ़ा देती है।
प्रोसेस्ड पनीर और सॉस में अक्सर सोडियम की मात्रा बहुत अधिक होती है।

अत्यधिक ऑक्सालेट वाले खाद्य पदार्थ

अत्यधिक ऑक्सालेट वाली खाने की चीजें (जैसे, पालक, चुकंदर, शकरकंद, मेवे) सीमित मात्रा में ही अच्छे माने जाते हैं। जितना ज्यादा इनका सेवन किया जाता है, मरीज को उतनी ही ज्यादा समस्याएं हो सकती हैं (खासकर उन मरीजों के लिए जिन्हें पहले गुर्दे की पथरी हो चुकी है)।

यह क्यों नुकसान पहुंचाता है:

क्योंकि ऑक्सालेट कैल्शियम के साथ मिलकर किडनी की पथरी बना सकता है इसलिए यह फ़िल्टरेशन पर बोझ डालता है।

रिफाइंड कार्बोहाइड्रेट और बेक्ड उत्पाद

सफेद ब्रेड, पेस्ट्री और अन्य रिफाइंड कार्बोहाइड्रेट मोटापे, इंसुलिन प्रतिरोध और सूजन को बढ़ावा देते हैं जो सभी किडनी की शिथिलता के जोखिम कारक हैं।

यह नुकसान क्यों पहुंचाता है:

ब्लड में ग्लूकोज और इंसुलिन के स्तर को बढ़ाता है।

वसा को बढ़ाता है जो सीकेडी और किडनी स्टोन दोनों के लिए एक बड़ी वजह है।

यह केवल एक बार के खाने या एक नाश्ते की बात नहीं है। दरअसल रोजाना ऐसे खाने के संपर्क में आने से हमारी किडनी धीरे-धीरे कमजोर होने लगती है। समय के साथ यह उन लोगों में भी किडनी की गंभीर बीमारियां पैदा कर सकता है जिन्हें पहले कोई समस्या नहीं थी। इन बीमारियों में पेशाब में प्रोटीन का जाना, हाई ब्लड प्रेशर, इलेक्ट्रोलाइट का असंतुलन, किडनी स्टोन, और स्टेज 1-2 सीकेडी (क्रोनिक किडनी डिजीज) जैसी समस्याएं शामिल हैं।