Chhattisgarh mineral resources: छत्तीसगढ़ अपनी प्राकृतिक संपदा और खनिज भंडार के कारण देशभर में विशेष पहचान रखता है। यहां की धरती के गर्भ में ऐसे अनेक खनिज छिपे हैं, जो न केवल प्रदेश की अर्थव्यवस्था को मजबूती प्रदान करते हैं, बल्कि पूरे भारत के औद्योगिक विकास की रीढ़ भी बने हुए हैं। लौह अयस्क से लेकर कोयला, बॉक्साइट, चूना पत्थर, टिन और हीरे तक—छत्तीसगढ़ की खनिज संपदा ने इसे “भारत की खनिज राजधानी” का दर्जा दिलाया है।
छत्तीसगढ़ को प्राचीन काल से ही प्राकृतिक और खनिज संपदा से समृद्ध प्रदेश माना जाता रहा है। घने जंगल, उपजाऊ धरती और बहती नदियों के साथ-साथ यहाँ की धरती के गर्भ में अनेक प्रकार के खनिज संसाधनों का भंडार छिपा हुआ है। यही कारण है कि छत्तीसगढ़ को “भारत की खनिज राजधानी” कहा जाता है।
छत्तीसगढ़ लौह अयस्क के उत्पादन में पूरे भारत में अग्रणी है। दंतेवाड़ा जिले के बैलाडिला खदान को एशिया की सबसे बड़ी लौह अयस्क खदानों में गिना जाता है। यहाँ से निकला लौह अयस्क भिलाई स्टील प्लांट ही नहीं, बल्कि जापान जैसे देशों में भी निर्यात होता है। लौह अयस्क ने ही छत्तीसगढ़ को इस्पात उत्पादन का प्रमुख केंद्र बनाया है।
कोरबा, सरगुजा, कोरिया और रायगढ़ जिले कोयला उत्पादन के बड़े क्षेत्र हैं। कोरबा को “ऊर्जा की राजधानी” कहा जाता है क्योंकि यहाँ से निकला कोयला थर्मल पावर प्लांट्स के लिए बिजली उत्पादन का मुख्य आधार है।
कांकेर, कोरबा और सरगुजा जिले बॉक्साइट के लिए प्रसिद्ध हैं। यह खनिज एल्युमिनियम निर्माण का प्रमुख कच्चा माल है। बॉक्साइट की खदानें स्थानीय उद्योगों और रोजगार के अवसरों को भी बढ़ावा देती हैं।
बिलासपुर, दुर्ग, रायपुर और जांजगीर-चांपा जिले में चूना पत्थर की प्रचुरता ने छत्तीसगढ़ को सीमेंट उद्योग का गढ़ बना दिया है। वहीं डोलोमाइट का उपयोग लौह और इस्पात उद्योग में किया जाता है।
भारत में टिन केवल छत्तीसगढ़ से ही प्राप्त होता है। बस्तर जिले की खदानें इसकी प्रमुख स्रोत हैं। यह धातु इलेक्ट्रॉनिक्स और मिश्रधातु उद्योग के लिए बेहद जरूरी है।
गरियाबंद जिले का देवभोग क्षेत्र हीरों के लिए प्रसिद्ध है। इसके अलावा तांबा, मैंगनीज, क्वार्ट्ज, माइका, ग्रेफाइट, सिलिका जैसे खनिज भी यहाँ पाए जाते हैं।
खनिज संसाधनों ने छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था को मजबूत आधार दिया है। यहाँ के खनिज उद्योगों ने न केवल प्रदेश बल्कि देश की ऊर्जा और इस्पात आवश्यकताओं को पूरा करने में अहम भूमिका निभाई है। खनिज उद्योगों ने रोजगार के अवसर बढ़ाए हैं, हालांकि इनसे जुड़े पर्यावरणीय और विस्थापन संबंधी चुनौतियाँ भी सामने आती हैं।
Updated on:
18 Aug 2025 06:26 pm
Published on:
18 Aug 2025 06:24 pm