मोटापे से बचने के लिए गुनगुने पानी में नींबू व शहद मिलाकर लें। स्वास्थ्य विभाग मोटापे से बचने के लिए प्रदेशभर में अभियान चला रहा है। डॉक्टरों का कहना है कि मोटापा ही सारी बीमारियों की जड़ यही है। डायबिटीज से लेकर हार्ट, किडनी, लिवर व कुछ कैंसर की बीमारी मोटापे की वजह से होती है। स्वास्थ्य विभाग लोगों को जागरूक कर पांपलेट छपवाकर सुबह से रात तक का डाइट चार्ट भी बांट रहा है। ताकि लोग डाइट का पालन कर मोटापे से बच सके। अगर मोटापे का शिकार हो गए हैं तो संतुलित आहार से नियंत्रित कर सके।
स्वास्थ्य विभाग के पांपलेट में मोटापे से बचने के लिए कई उपाय बताए गए हैं। स्वस्थ आहार व नियमित व्यायाम को वजन कम करने के लिए प्रभावी उपाय बताया गया है। जिला स्वास्थ्य समितियों के माध्यम से लोगों के बीच जागरुकता अभियान लंबे समय तक चलेगा। डॉक्टरों के अनुसार छत्तीसगढ़ ही नहीं, देश में मोटापे की समस्या तेजी से बढ़ रही है। यह समस्या न केवल शहरी क्षेत्रों में बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी देखी जा रही है। हिमेटोलॉजिस्ट डॉ. विकास गाेयल व पीडियाट्रिशियन डॉ. आकाश लालवानी के अनुसार मोटापा बढ़ने के कारणों में अनियमित व जंक फूड, अधिक तैलीय व प्रोसेस्ड खाद्य पदार्थों का सेवन बढ़ गया है। फिजिकल एक्टीविटीज कम हो गई है। शहरीकरण, मोबाइल व टीवी की लत व तकनीकी प्रगति के कारण लोगों का शारीरिक श्रम कम हो रहा है। यहीं नहीं कुछ परिवारों में जेनेटिक कारण भी मोटापे के लिए जिम्मेदार है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस पर लाल किले की प्राचीर से सभी लोगों से 10 फीसदी खाद्य तेल कम उपयोग करने को कहा था। डॉक्टरों का कहना है कि इतना तेल खाने की चीजों में कम कर देने से मोटापे से काफी हद तक बचा जा सकता है। उबले हुए चीजों को खाने की आदत, वैसे तो ठीक है, लेकिन पीएम के आह्वान पर ही गौर कर लिया जाए तो काफी हद तक मोटापा से बचा जा सकता है।
0 ताजे फल, सब्जियां व साबुत अनाज नियमित खाएं।
0 रोजाना कम से कम 30 मिनट से लेकर एक घंटा व्यायाम या एक्सरसाइज जरूरी।
0 हार्ट के मरीजों को छोड़कर रोजाना कम से कम चार से पांच लीटर पानी पीना जरूरी।
0 रोजाना 7-8 घंटे की नींद लें। सोने के पहले मोबाइल फोन से दूरी बनाए रखें।
0 योग, ध्यान या अन्य तनाव कम करने वाले तरीकों का उपयोग करें।
स्वास्थ्य विभाग के पांपलेट में नाश्ते, लंच व डिनर ऐसे
0 एक गिलास गुनगुने पानी में आधा नींबू का रस व दो चम्मच शहद मिलाकर पीएं।
0 बिना दूध व बिना शक्कर की चाय, बिस्कुट के साथ पीना है।
0 पपीता, अमरूद, कम तेल वाला पोहा, भूने चने खाने हैं।
0 अंकुरित मूंग व पतला मठा पीना है।
0 लंच में टमाटर, खीरा, प्याज व मूली का सलाद ज्यादा से ज्यादा खाएं।
0 चावल पसाकर, पतली दाल, हरी भाजी, मौसमी सब्जी, मिक्स ग्रेन वाला आटा व हरी चटनी खाएं।
0 शाम साढ़े 6 बजे तरबूज, खरबूज, खीरा, ककड़ी, अनानास, अमरूद व पपीता खाएंं।
0 रात 8 बजे दलिया खिचड़ी, सोया बड़ी, लाैकी, टमाटर, बेसन के मठे की कढ़ी खाएं।
टॉपिक एक्सपर्ट
शरीर में ज़्यादा चर्बी होने से कई तरह के कैंसर होने का रिस्क बढ़ जाता है। जैसे ग्रासनली, ब्रेस्ट, यकृत, पित्ताशय, गुर्दे, आंत्र, अग्नाशय व गर्भाशय का कैंसर हो सकता है। मोटापे की वजह से बीपी बढ़ता है। इससे किडनी कैंसर का रिस्क भी बढ़ जाता है। हमेशा संतुलित भोजन करें। जंक या फास्ट फूड से दूरी बनाएं रखें। योग व एक्सरसाइ पर भी ध्यान दें। अग्नाशय में इंसुलिन बढ़ने से कोशिकाएं अनियंत्रित रूप से बढ़ने लगती हैं।
डॉ. युसूफ मेमन, डायरेक्टर संजीवनी कैंसर अस्पताल
Published on:
01 Sept 2025 12:48 am