E-Office: सरकारी कार्यालयों में कामकाज में पारदर्शिता लाने के लिए ई-ऑफिस शुरू किया गया है, लेकिन जिला प्रशासन के कई विभागों में यह नहीं हो पा रहा है। आज भी मोटी-मोटी फाइलों से काम चलाया जा रहा है। फाइलों को अपलोड करने में कभी नेटवर्क की, तो कभी सर्वर की समस्या सामने आ रही है। इसके चलते कई विभागों में पुराने तरीके से कामकाज हो रहा है। तहसील, रजिस्ट्री, आबकारी, खनिज, जिला पंचायत, महिला एवं बाल विकास आदि विभागों में अधिकांश काम आज भी पुराने पैटर्न में फाइलों में ही निपटाया जा रहा है।
कार्यालयों में कामकाज से जुड़ी फाइलें डिजिटल रूप में रहेंगी। फाइलों की ट्रेकिंग की जाएगी, ताकि काम निपटाने में अनावश्यक देरी न हो। रुकने के कारणों का पता चल सके। रायपुर जिला प्रशासन में ई-ऑफिस की शुरूआत कर दी गई। कुछ ही विभागों में यह सफल हो पाया है। बाकी कार्यालयों में तकनीकी दिक्कतों के चलते ई-ऑफिस पूरी तरह से शुरू नहीं हो पाया है।
कलेक्ट्रेट की रेकॉर्ड शाखा में सैकड़ों साल पुरानी जमीन के रेकॉर्ड हैं। ये दस्तावेज अब खराब होने लगे हैं। कई दस्तावेज फट चुके हैं। इन्हें डिजिटल रूप से संरक्षित नहीं किया जा रहा है। रोज कई वकील और पक्षकार दस्तावेज लेने जाते हैं। इस दौरान दस्तावेजों को उलटते-पलटते हैं। इससे दस्तावेजों के फटने की आशंका रहती है। इसी तरह रजिस्ट्री कार्यालय में कई साल पुराने दस्तावेज हैं। उनकी सुरक्षा को लेकर भी ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
वर्तमान में तहसील कार्यालय अस्थायी रूप से पुराने सीएमएचओ कार्यालय में चल रहा है। यहां कई पुराने दस्तावेज अस्त-व्यस्त पड़े हैं। यहां के अधिकांश काम भी फाइलों से ही निपटाए जा रहे हैं। इसी तरह आबकारी और खनिज विभाग का हाल है। खनिज विभाग में भी अधिकांश काम पहले की ही तरह चल रहा है।
Updated on:
22 Aug 2025 01:04 pm
Published on:
22 Aug 2025 01:03 pm