
लिफ्ट में फंसी महिला। फोटो: पत्रिका
उदयपुर। आरटीओ ऑफिस के सामने अमरविलास अपार्टमेंट में मंगलवार सुबह एक हैरान करने वाली घटना सामने आई। परिवहन विभाग की महिला कर्मचारी करीब दो घंटे तक लिफ्ट में फंसी रही। बाद में दीवार में सुराख कर बेसुध हुई महिला को निकाला गया। घटना का कारण लिफ्ट का फेल होना था, जिसकी वजह से महिला को परेशानी का सामना करना पड़ा।
हैरान करने वाली बात यह थी कि दो घंटे तक सभी लोग अपने स्तर पर ही जुगाड़ से लिफ्ट तोड़ने में लगे रहे। लेकिन किसी ने प्रशासन, आपातकालीन सेवा या फायर टीम को सूचना तक नहीं दी। घटना सुबह 8:30 बजे के करीब बी ब्लॉक की डी लिफ्ट में हुई, जिसमें भाग्यश्री धोलिया नामक महिला कर्मचारी फंसी थी।
महिला लिफ्ट से अपने बच्चे को आईडी कार्ड देने के लिए नीचे आ रही थी। तभी अचानक लिफ्ट झटके के साथ रुक गई और वह छठे-सातवें फ्लोर के बीच फंस गई। लिफ्ट में शॉर्ट सर्किट हो जाने से वायरिंग जल गई और अलार्म व बेल भी काम नहीं कर रहे थे।
महिला 20 मिनट तक मदद के लिए चिल्लाई, लेकिन कोई सुन नहीं पाया। इसके बाद जब लोग ऊपर पहुंचे तो टेक्नीशियन को बुलाया गया, लेकिन मदद आने में और समय लगा। इस बीच अंधेरे और घुटन से घबराई महिला बेसुध हो गई। करीब एक घंटे बाद टेक्नीशियन ने दीवार में एक छोटा सुराख किया, जिससे थोड़ी सी हवा आई और पानी दिया गया। दो घंटे के संघर्ष के बाद महिला को सुरक्षित बाहर निकाला जा सका।
लिफ्ट करीब 15 वर्ष पुरानी थी और इसमें कोई सीसीटीवी या सुरक्षा सुविधाएं नहीं थीं। इसकी नियमित मेंटेनेंस भी नहीं हो रही थी और बिल्डिंग के निवासियों के अनुसार लिफ्ट की वायरिंग और गियर में बार-बार खराबी आ रही थी। लिफ्ट में सुरक्षा के जरूरी उपकरण जैसे अलार्म, बेल, फोन और इमरजेंसी लाइट्स नहीं थे, जो कि लिफ्ट संचालन के नियमों के तहत अनिवार्य होते हैं।
Updated on:
10 Dec 2025 10:09 am
Published on:
10 Dec 2025 07:35 am
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